नई दिल्ली, जुलाई 2025
भारत मोबिलिटी ग्लोबल एक्सपो (बीएमजीई) का तीसरा संस्करण 4 से 9 फरवरी 2027 तक राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (एनसीआर) दिल्ली में आयोजित किया जाएगा। यह बहुप्रतीक्षित एक्सपो वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय तथा भारी उद्योग मंत्रालय के सहयोग से आयोजित किया जा रहा है। इसका मुख्य उद्देश्य मोबिलिटी कार्यक्षेत्र से जुड़े विभिन्न हितधारकों — जैसे उद्योग प्रतिनिधि, नीति निर्माता, प्रौद्योगिकी विशेषज्ञ, स्टार्टअप और निवेशक — को एक साझा मंच पर लाना है, ताकि सतत, स्मार्ट और समावेशी मोबिलिटी के लिए भविष्य की दिशा तय की जा सके।
बीएमजीई का विकास और पिछले संस्करणों की सफलता
बीएमजीई ने 2024 में अपने पहले संस्करण के साथ एक ठोस शुरुआत की थी, जो 2025 में और अधिक भव्य रूप में सामने आया। 2025 का आयोजन दिल्ली-एनसीआर के तीन प्रमुख स्थलों – भारत मंडपम (प्रगति मैदान), यशोभूमि (द्वारका) और इंडिया एक्सपो सेंटर एंड मार्ट (ग्रेटर नोएडा) – में फैला था। 2 लाख वर्ग मीटर क्षेत्र में विस्तारित इस संस्करण में 1500 से अधिक प्रदर्शकों ने भाग लिया और 9.8 लाख से अधिक आगंतुकों ने शिरकत की। कार्यक्रम में इलेक्ट्रिक वाहनों, हरित ऊर्जा, स्मार्ट ट्रांसपोर्टेशन सिस्टम, और वैश्विक आपूर्ति श्रृंखलाओं पर आधारित नवीन उत्पादों और समाधानों का प्रदर्शन किया गया। यह एक्सपो न केवल एक प्रदर्शनी था, बल्कि विचारों, नवाचार और साझेदारियों का एक समावेशी मंच था।
बीएमजीई 2027 की संरचना और नवाचार2027 के संस्करण में प्रदर्शनी, तकनीकी सत्र और हितधारक परामर्श की निरंतरता बरकरार रहेगी, परंतु इस बार एक्सपो के दायरे को और भी व्यापक किया जा रहा है। मल्टी-मॉडल मोबिलिटी और लॉजिस्टिक्स को समर्पित एक विशेष खंड जोड़ा जाएगा, जो रेल, सड़क, जल, वायु, शहरी और ग्रामीण परिवहन के परस्पर समन्वय को दर्शाएगा। इसके अतिरिक्त, ट्रैक्टर, कृषि उपकरण और अन्य कृषि मोबिलिटी समाधानों पर केंद्रित एक नया शोकेस भी एक्सपो का हिस्सा होगा। इससे न केवल ऑटोमोटिव उद्योग को लाभ मिलेगा, बल्कि कृषि और ग्रामीण क्षेत्र की आवश्यकताओं को भी वैश्विक मंच पर प्रस्तुत किया जा सकेगा।
संस्थागत सहयोग और आयोजन समिति की भूमिकाबीएमजीई एक उद्योग-केन्द्रित पहल है, जिसे ईईपीसी इंडिया (भारतीय इंजीनियरिंग निर्यात संवर्धन परिषद) द्वारा समन्वित किया जाता है। इसे एसआईएएम (सोसायटी ऑफ इंडियन ऑटोमोबाइल मैन्युफैक्चरर्स), एसीएमए (ऑटोमोटिव कंपोनेंट मैन्युफैक्चरर्स एसोसिएशन), आईसीईएमए, आईईएसए (इंडियन एनर्जी स्टोरेज अलायंस), आईएसए, नैसकॉम, सीआईआई, एमआरएआई, टीएमए, इन्वेस्ट इंडिया, आईबीईएफ, आईटीपीओ, यशोभूमि और आईईएमएल जैसे प्रमुख संगठनों का भी समर्थन प्राप्त है। इन संगठनों के सामूहिक प्रयास से बीएमजीई न केवल एक व्यापारिक आयोजन बनता है, बल्कि यह नीति, तकनीक और नवाचार के समन्वय से युक्त भविष्य की नींव भी रखता है।
बीएमजीई – प्रमुख तथ्य और आँकड़े (2024-2025)
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पहला संस्करण: फरवरी 2024
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दूसरा संस्करण: फरवरी 2025
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स्थान (2025): भारत मंडपम, यशोभूमि, ग्रेटर नोएडा
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प्रदर्शक: 1500+
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आगंतुक: 9.8 लाख+
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प्रमुख गतिविधियाँ: उत्पाद लॉन्च, सम्मेलन, तकनीकी शोकेस, अंतर्राष्ट्रीय प्रतिनिधिमंडल
2027 संस्करण में प्रस्तावित नवाचार
बीएमजीई 2027 न केवल मौजूदा ऑटोमोटिव और ई-मोबिलिटी सेक्टर को विस्तार देगा, बल्कि मोबिलिटी के भविष्य से जुड़े कई नए क्षेत्रों को पहली बार मंच देगा। यह संस्करण समावेशी, सतत और तकनीक-संचालित परिवहन समाधानों पर केंद्रित होगा, जो निम्नलिखित प्रमुख नवाचारों द्वारा संचालित होगा:
1. मल्टी-मॉडल मोबिलिटी खंड
इस खंड में रेल, जल, सड़क और वायु परिवहन के बीच समन्वय को प्रमुखता दी जाएगी। इसका उद्देश्य एकीकृत यातायात नेटवर्क को बढ़ावा देना है, जो लॉजिस्टिक्स दक्षता को बेहतर बनाने और शहरी-ग्रामीण जुड़ाव को सुदृढ़ करने में मदद करेगा। इस खंड में स्मार्ट मल्टी-मॉडल टर्मिनल्स, फीडर सेवाओं और इंटीग्रेटेड टिकटिंग सिस्टम्स की प्रौद्योगिकियाँ प्रदर्शित की जाएंगी।
2. कृषि मोबिलिटी पर विशेष शोकेस
ग्रामीण क्षेत्रों की आवश्यकताओं को केंद्र में रखते हुए, इस बार ट्रैक्टर, कृषि यंत्र, ड्रोन आधारित वितरण प्रणाली, और कृषि-लॉजिस्टिक्स समाधान पेश किए जाएंगे। यह खंड किसानों के लिए आधुनिक, लागत प्रभावी और टिकाऊ मोबिलिटी विकल्पों को सामने लाएगा।
3. स्मार्ट शहरों के लिए शहरी मोबिलिटी समाधान
‘स्मार्ट सिटीज़ मिशन’ के अनुरूप, इस खंड में इलेक्ट्रिक बसें, पब्लिक बाइक शेयरिंग, ई-स्कूटर्स, और स्मार्ट ट्रैफिक मैनेजमेंट सिस्टम जैसी अत्याधुनिक शहरी परिवहन तकनीकों का प्रदर्शन होगा। फोकस होगा “कम प्रदूषण, अधिक कनेक्टिविटी” पर।
4. रिमोट और ग्रामीण क्षेत्रों के लिए मोबिलिटी मॉडल
इस खंड में कम ऊर्जा खपत वाले वाहन, सौर चालित परिवहन, वाटर टैक्सीज़, और ऑफ-रोड ट्रांसपोर्ट सॉल्यूशंस प्रस्तुत किए जाएंगे, जो दुर्गम क्षेत्रों तक किफायती और पर्यावरणीय रूप से सुरक्षित पहुंच सुनिश्चित कर सकते हैं।
5. हरित ऊर्जा आधारित मोबिलिटी समाधान
जलवायु परिवर्तन की चुनौती से निपटने हेतु, इस बार हाइड्रोजन ईंधन सेल, बैटरी स्वैपिंग स्टेशनों, चार्जिंग इन्फ्रास्ट्रक्चर, और नेट-ज़ीरो कार्बन मोबिलिटी मॉडल्स को प्राथमिकता दी जाएगी। यह खंड ग्रीन मोबिलिटी की ओर भारत की प्रतिबद्धता को दर्शाएगा।
बीएमजीई 2027 के संभावित लाभ
वैश्विक निवेशकों के लिए भारत का मोबिलिटी रोडमैप
भारत का मोबिलिटी सेक्टर वैश्विक निवेशकों के लिए एक तेजी से उभरता हुआ बाज़ार है। बीएमजीई 2027, उन्हें भारत में विनिर्माण, नवाचार और बुनियादी ढांचे में निवेश के बहुआयामी अवसर दिखाने का मंच प्रदान करेगा।
एमएसएमई और स्टार्टअप्स को अंतरराष्ट्रीय मंच
MSME और स्टार्टअप्स को अपने नवीन उत्पादों और समाधानों को वैश्विक दर्शकों, खरीदारों और निवेशकों के सामने प्रस्तुत करने का सुनहरा अवसर मिलेगा। एक्सपो में उनके लिए विशेष पवेलियन, नेटवर्किंग सेशन और B2B मीटिंग्स रखी जाएंगी।
नीति निर्माताओं को जमीनी फीडबैक और भविष्य दृष्टि
सरकारी प्रतिनिधियों और नीति निर्माताओं को विभिन्न हितधारकों से सीधे संवाद का अवसर मिलेगा, जिससे नीतियों को और अधिक व्यावहारिक, समावेशी और नवाचारोन्मुख बनाया जा सकेगा।
तकनीकी नवाचार और B2B सहभागिता को बढ़ावा
B2B समिट्स, लाइव डेमो, और संयुक्त वेंचर घोषणाओं के माध्यम से तकनीकी हस्तांतरण और रणनीतिक सहयोग की संभावनाएँ बढ़ेंगी। इससे भारत को मोबिलिटी नवाचार का वैश्विक केंद्र बनाने की दिशा में गति मिलेगी।
‘मेक इन इंडिया’ और ‘मेक फॉर द वर्ल्ड’ को बल
भारत में डिजाइन और निर्माण किए गए मोबिलिटी समाधानों को वैश्विक बाजारों के अनुरूप प्रदर्शित करने का यह अवसर, भारत को निर्यात केंद्रित उत्पादन की ओर ले जाएगा। इससे स्थानीय निर्माण को प्रोत्साहन मिलेगा और वैश्विक आत्मनिर्भरता को बल।
ईईपीसी इंडिया (Engineering Export Promotion Council of India)
1955 में स्थापित यह संगठन भारतीय इंजीनियरिंग उत्पादों के निर्यात को बढ़ावा देने में अग्रणी रहा है। यह बीएमजीई जैसे आयोजनों को समन्वयित कर भारत की विनिर्माण क्षमता और निर्यात सामर्थ्य को वैश्विक मंच पर प्रस्तुत करता है।
एसआईएएम (SIAM) और एसीएमए (ACMA)
भारतीय ऑटोमोबाइल और ऑटो पार्ट्स उद्योग की शीर्ष संस्थाएं हैं। ये संगठनों ने भारत में स्वच्छ वाहन तकनीक, ईवी नीति निर्माण और अंतरराष्ट्रीय साझेदारियों में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाई है।
नैसकॉम (NASSCOM) और आईईएसए (IESA)
इलेक्ट्रॉनिक्स, आईटी और ऊर्जा भंडारण के क्षेत्र में अग्रणी ये संस्थाएं मोबिलिटी के डिजिटल और बैटरी आधारित समाधानों को विकसित करने में सक्रिय हैं। इनके माध्यम से मोबिलिटी को डिजिटल, स्मार्ट और हरित बनाया जा रहा है।
सीआईआई (CII) और इन्वेस्ट इंडिया
नीति निर्धारण, उद्योग सहयोग और वैश्विक निवेश आकर्षण में इनका योगदान अत्यंत महत्त्वपूर्ण है। ये बीएमजीई जैसे मंचों के माध्यम से भारत में उद्योग मैत्रीपूर्ण माहौल बनाने के लिए कार्य कर रहे हैं।
निष्कर्ष
बीएमजीई 2027 केवल एक व्यापारिक आयोजन नहीं, बल्कि भारत की मोबिलिटी क्रांति की दिशा में एक निर्णायक कदम है। जैसे-जैसे विश्व हरित ऊर्जा, स्वच्छ परिवहन और टिकाऊ विकास की ओर बढ़ रहा है, वैसे-वैसे भारत अपनी नीतियों, नवाचारों और उत्पादन क्षमताओं से वैश्विक मंच पर अग्रणी बनता जा रहा है।
यह एक्सपो न केवल एक आर्थिक अवसर है, बल्कि यह आत्मनिर्भर भारत और वैश्विक साझेदारी की अवधारणा को एक साथ लेकर चलता है। भारत जैसे विविधतापूर्ण देश के लिए मोबिलिटी केवल यातायात नहीं, बल्कि सामाजिक समावेशन, आर्थिक सशक्तिकरण और सतत विकास का माध्यम भी है।
बीएमजीई 2027 का सफल आयोजन यह सुनिश्चित करेगा कि भारत न केवल विश्व की सबसे बड़ी मोबिलिटी अर्थव्यवस्था में शामिल हो, बल्कि टिकाऊ और समावेशी समाधान देने वाला वैश्विक अग्रणी भी बने।