माननीय केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह
अमित शाह ने हाल ही में उत्तर प्रदेश पुलिस की पारदर्शी और निष्पक्ष चयन प्रक्रिया की खुलकर सराहना की है। उन्होंने कहा कि जिस प्रकार उत्तर प्रदेश सरकार ने बिना किसी भ्रष्टाचार, सिफारिश या लेन-देन के केवल योग्यता के आधार पर पुलिस बल में भर्ती की है, वह पूरे देश के लिए एक आदर्श उदाहरण है।
श्री शाह ने उत्तर प्रदेश पुलिस भर्ती एवं प्रोन्नति बोर्ड के अथक परिश्रम और उत्तर प्रदेश सरकार की दृढ़ प्रतिबद्धता को सराहते हुए कहा कि यह भर्ती प्रक्रिया युवाओं में विश्वास पैदा करती है और यह संदेश देती है कि मेहनत का फल अवश्य मिलता है।
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में राज्य सरकार द्वारा जिस प्रकार से डिजिटल तकनीक, निगरानी और सख्त नियमों के साथ चयन प्रक्रिया को पारदर्शी बनाया गया है, वह युवाओं को अपने सपनों को साकार करने का सीधा मार्ग प्रदान कर रही है।
यह सराहना न केवल उत्तर प्रदेश पुलिस विभाग के लिए, बल्कि उन लाखों युवाओं के लिए उत्साहवर्धक है जो पूरी निष्ठा और परिश्रम से अपनी तैयारी में लगे हैं।
उत्तर प्रदेश पुलिस भर्ती ने इस बार नए कीर्तिमान स्थापित किए हैं। इसका मुख्य कारण इसका पूर्ण रूप से निष्पक्ष, पारदर्शी, योग्यताधारित, और भ्रष्टाचार-मुक्त होना है। इसका समर्थन खुद देश के गृह मंत्री अमित शाह ने किया, जिन्होंने लखनऊ कार्यक्रम में साफ किया कि अब पुलिस भर्ती कोई सिफ़ारिश या घूस पर नहीं होती, इसका एक मात्र आधार अभ्यर्थियों की मेहनत ही रहेगी।
🔹 मुख्य बिंदु:
✅ 60,244 अभ्यर्थियों ने किया जॉइन:
गृह मंत्री अमित शाह ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की मौजूदगी में नए पुलिस कॉन्स्टेबल्स को नियुक्तिपत्र दिया, जो पुलिस बल का हिस्सा बनने जा रहे हैं।
✅ चयन किया गया शत-प्रतिशत योग्यताओं पर:
चयन प्रक्रिया ने “खर्ची, पर्ची, या सिफ़ारिश” जैसे कारक समाप्त किए, इसका मतलब हुआ कि कोई बाहरी कारक इसका हिस्सा नहीं रहे, केवल अभ्यर्थियों ने अपनी क्षमता, शैक्षिक योग्यताओं, शारीरिक क्षमता, मानसिक कौशल, और प्रतियोगिता पर आधारित परीक्षाओं के तहत सफलता अर्जित किया।
✅ महिलाओं की अधिक प्रतिनिधित्व:
60,244 अभ्यर्थियों में लगभग 20% महिलाएँ थीं (करीब 12,048), जो पुलिस बल अधिक समवेशी होने का प्रतीक है। इसका प्रभाव पुलिस व्यवस्था पर अधिक सहानुभूतिपूर्ण, जनोन्मुख, और सक्षम होने पर पड़ेगा।
🔹 भर्ती की विशेषताएँ:
➥ AI तकनीक, बायोमेट्रिक, ट्रांसपेरेंसी:
चयन ने बायोमेट्रिक जाँच, आर्टिफ़िशियल इंटेलिजेंस, सुरक्षित सर्वर, कॉन्फ़िगर किए गए प्रश्न पत्र, अधिक पर्यवेक्षक, CCTV मॉनिटरिंग इत्यादि साधनों का उपयोग किया ताकि कोई बाहरी हस्तक्षेप या पक्षपाती कारक इसका हिस्सा न रहे।
➥ स्वच्छ इमेज:
गृह मंत्री ने इसका उदाहरण दिया कि पहले पुलिस भर्ती घोटाले, नकल, घूस इत्यादि आरोप लगने सामान्य थे, पर इस बार कोई भी ऐसी शिकायतें नहीं आईं, इसका मुख्य कारण सरकार ने कठोर व्यवस्था अपनाई।
➥ राज्य पुलिस सुधार:
यह भर्ती राज्य पुलिस सुधार कार्यक्रम का हिस्सा रही, जिसका लक्ष्य पुलिस बल अधिक सक्षम, जवाबदेह, पेशेवर, जनोन्मुख, और निष्पक्ष बनाया जाना है।
🔹 अभ्यर्थियों पर प्रभाव:
✅ गांव-देहात तक पहुंचे मौके:
गांव, गरीब वर्ग, आदिवासी, दलित, पिछड़ों तक इसका लाभ पहुंचा, जो पहले घूस या सिफ़ारिश की व्यवस्था में पीछे रहे थे।
✅ लोक विश्वास हुआ बहाल:
अब लोगों ने पुलिस भर्ती पर अधिक विश्वास किया, अधिक लोगों ने आवेदन किया, अधिक प्रतिभाओं ने प्रतियोगिता दी, इसका असर पुलिस बल की गुणवत्ता पर पड़ेगा।
✅ कानून व्यवस्था अधिक सक्षम:
ज्यादातर नए कॉन्स्टेबल योग्य, शारीरिक रूप से सक्षम, मानसिक रूप से सतर्क, शैक्षिक रूप से योग्य, और जीवन जीने वाले मूल्यों से प्रेरित हैं। इसका अर्थ हुआ कि राज्य अधिक सुरक्षित होगा, अपराध पर अधिक प्रभावी नियंत्रण किया जा सकेगा।
🔹 अमित शाह ने किया आह्वान:
गृह मंत्री ने नए पुलिस कार्मिकों से आह्वान किया कि वे लोगों की सुरक्षा, शांति, विधि व्यवस्था बनाए रखने, महिलाओं, गरीबों, असहाय वर्ग की रक्षा, और राज्य की एकता व अखंडता सुनिश्चित रखने का संकल्प लेँ।
❓ 1. उत्तर प्रदेश पुलिस भर्ती कितने पदों पर हुई?
✅ लगभग 60,244 कॉन्स्टेबल पदों पर भर्ती हुई।
❓ 2. इसका आदेश कौन ने दिया?
✅ मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की मौजूदगी में गृह मंत्री अमित शाह ने आदेश दिया।
❓ 3. भर्ती कितने चरणों में हुई?
✅ मुख्य रूप से लिखित परीक्षा, शारीरिक क्षमता परीक्षण, दस्तावेज सत्यापन इत्यादि चरण रहे।
❓ 4. कितने महिलाओं ने किया जॉाइन?
✅ लगभग 20% (करीब 12,048) नए कॉन्स्टेबल महिलाएँ थीं।
❓ 5. भर्ती निष्पक्ष होने की मुख्य विशेषता?
✅ बायोमेट्रिक, आर्टिफ़िशियल इंटेलिजेंस, CCTV, ट्रांसपेरेंसी ने इसका समर्थन किया।
❓ 6. इसका लक्ष्य किया था?
✅ योग्य, सक्षम, जनोन्मुख पुलिस बल तैयार करना।
❓ 7. घूस या सिफ़ारिशें आई थीं?
✅ नहीं, इसका मुख्य बिंदु था — कोई घूस या सिफ़ारिश नहीं चली।
❓ 8. गांव-देहाती लोगों ने किया आवेदन?
✅ जी हां, अधिकतर अभ्यर्थी गांव, आदिवासी, गरीब वर्ग से थे।
❓ 9. इसका पुलिस बल पर असर?
✅ अधिक सक्षम, निष्पक्ष, जवाबदेह पुलिस बल निर्मित हुआ।
❓ 10. इसका मुख्य संदेश?
✅ पुलिस भर्ती योग्यताओं पर आधारित रहेगी, बाहरी कारक प्रभावित नहीं करेंगे।
❓ 11. शैक्षिक योग्यताएँ?
✅ शैक्षिक योग्यताओं ने तय किया कि केवल योग्य अभ्यर्थियों ने आवेदन किया।
❓ 12. शारीरिक क्षमता क्यों महत्वपूर्ण?
✅ शारीरिक क्षमता पुलिस की शांति व्यवस्था बनाए रखने की क्षमता तय करता है।
❓ 13. मानसिक कौशल पर जोर?
✅ मानसिक कौशल तय करता है कि पुलिस मुश्किल स्थितियों से कैसे निपटेगी।
❓ 14. महिलाओं की भूमिका?
✅ अधिक महिलाओं ने पुलिस बल जॉाइन किया, इससे सुरक्षा व्यवस्था अधिक जनोन्मुख रहेगी।
❓ 15. प्रशिक्षण कार्यक्रम कैसा होगा?
✅ नए कॉन्स्टेबल्स पुलिस अकादमी में विशेष प्रशिक्षण पाएँगे।
❓ 16. इसका राज्य पर असर?
✅ अधिक सक्षम पुलिस मतलब अधिक शांति, सुरक्षा, स्थिरता।
❓ 17. लोगों ने इसका समर्थन किया?
✅ लोगों ने इसका समर्थन किया, उनके विश्वास पुलिस पर अधिक हुआ।
❓ 18. भर्ती ने बेरोजगारी पर किया असर?
✅ लगभग 60,244 लोगों ने रोज़गार पाया, बेरोजगारी घटी।
❓ 19. भविष्य की योजना?
✅ पुलिस बल अधिक सक्षम रहे, अधिक भर्ती शांति बनाए रखने के लिए किया जाएगा।
❓ 20. मुख्य प्रेरणा?
✅ पुलिस भर्ती “निष्पक्ष, योग्यताधारित, जनोन्मुख” रहे — इसका संदेश दिया अमित शाह ने।
❓ 21. भर्ती आदेश पत्र किसने दिया?
✅ गृह मंत्री अमित शाह ने मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की मौजूदगी में आदेश पत्र दिया।
❓ 22. इसका मुख्य लक्ष्य सुरक्षा व्यवस्था सुधारना था?
✅ जी हां, इसका मुख्य लक्ष्य पुलिस बल अधिक सक्षम, जनोन्मुख, और जवाबदेह बनाया जाना था।
❓ 23. भर्ती ने राज्य सरकार की छवि पर किया असर?
✅ इसका आदेश निष्पक्ष होने की वजह से राज्य सरकार की लोकप्रियता अधिक हुई।
❓ 24. आवेदन अधिकतर किन वर्गों ने किया?
✅ गांव, गरीब, दलित, आदिवासी, मध्य वर्ग ने अधिक आवेदन किया, जो इसका जनाधारित होने का सूचक है।
❓ 25. इसका भविष्य पर प्रभाव?
✅ अधिक योग्य पुलिस बल राज्य की शांति, सुरक्षा, कानून-व्यवस्था, और लोगों का विश्वास बनाए रखने में सहायक होगा।